"जियोस्पेशियल इनफॉर्मेशन रेगुलेशन बिल" और इससे जुड़े हुए मुद्दे ... (Geospatial Information Regulation Bill)

भारत के नक्शे को लेकर संसद में पेश नए ड्राफ्ट बिल पर पाकिस्तान ने एतराज जताया है। पाकिस्तान ने नक्शे में जम्मू-कश्मीर को दिखाने को लेकर यूएन में शिकायत की है। वहीं, इंडियन फॉरेन मिनिस्ट्री ने इसे देश का अंदरूनी मामला बताते हुए पाक से दखल नहीं देने को कहा है। पाक ने यूएन को भेजे लेटर में लिखा है ...

- पाकिस्तान भारत द्वारा संसद में जियोस्पेशियल इनफॉर्मेशन रेगुलेशन बिल लाने की कोशिशों से चिंतित है।
- उसने लेटर भेजकर यूएन महासचिव और सिक्युरिटी काउंसिल के अध्यक्ष से इस बारे में चिंता जताई है।
- पाकिस्तान ने ये लेटर न्यूयॉर्क में अपने परमानेंट रिप्रेजेंटेटिव के जरिए यूएन भेजा है।

- इस्लामाबाद में फॉरेन ऑफिस ने बयान जारी कर इसकी जानकारी दी है।

- बता दें भारत का ये नया बिल ड्राफ्ट अगर कानून बना तो कई कंपनियां और एजेंसियां सरकार की तरफ से बिना लाइेंसस लिए कोई मैप ऑनलाइन नहीं दिखा सकेंगी। ऐसा करने पर सजा भी हो सकती है।

=>क्या कहता है बिल?
- गूगल मैप्स जैसी सर्विसेस सैटेलाइट्स और क्राउड सोर्स्ड डाटा के जरिए इन्फॉर्मेशन इकट्ठा करती हैं। जल्द ही इन्हें गैरकानूनी करार दिया जा सकता है। 
- द जियोस्पैशियल इन्फॉर्मेशन रेगुलेशन बिल 2016 के ड्राफ्ट में कहा गया है, ''कोई भी शख्स सैटेलाइट, एयरक्राफ्ट्स, एयरशिप्स, बैलून, ड्रोन या किसी भी तरह के व्हीकल के जरिए एरियल या स्पेस व्यू के साथ भारत के किसी हिस्से की जियोस्पैशियल इमेज हासिल नहीं कर सकेगा।"

- "मैप्स के लिए इस तरह की इन्फॉर्मेशन हासिल करने और उसे साइट्स या ऐप्स के जरिए दिखाने के लिए अथॉरिटी से लाइसेंस की जरूरत होगी।''

=>कितनी होगी सजा और जुर्माना ?


- जो कंपनियां, एजेंसियां, संस्थाएं या लोग अभी मैप्स का इस्तेमाल कर रहे हैं, उन्हें लाइेंसस लेना होगा। 
- ऐसा नहीं किया तो जुर्माना 10 लाख से 100 करोड़ रुपए के बीच लगेगा। 
- सात साल की सजा भी हो सकती है।
- सिर्फ सरकारी डिपार्टमेंट‌्स को लाइसेंसिंग की जरूरत नहीं होगी।

 

=>सरकार कैसे रखेगी नजर?
- सरकार सिक्युरिटी अथॉरिटी बनाएगी ताकि इस तरह की इन्फॉर्मेशन का रेगुलेशन किया जा सके।
- इस अथॉरिटी में केंद्र सरकार का ज्वाइंट सेक्रेटरी चेयरमैन होगा। एक नेशनल सिक्युरिटी एक्सपर्ट और एक टेक्निकल एक्सपर्ट होगा।
- सरकार ने होम मिनिस्ट्री की वेबसाइट पर ये ड्राफ्ट बिल पोस्ट किया है और इस पर सुझाव मांगे हैं।

 

=>पाकिस्तान का क्या कहना है?

- पाकिस्तान ने कहा कि भारत के ऑफिशियल नक्शे में जम्मू-कश्मीर के विवादित क्षेत्र को भारत का हिस्सा बताया गया है।
- ये एक गलत कदम है और यूएन सिक्युरिटी काउंसिल (UNSC) के रिजोल्युशंस का वॉयलेशन है।
- बयान में कहा गया कि अगर ये बिल पास हो जाता है, तो भारत उन लोगों और संगठनों को सजा देगा, जो यूएन रिजोल्युशंस के तहत जम्मू-कश्मीर का विवादित क्षेत्र के रूप में नक्शा दिखाएंगे।

- फॉरेन ऑफिस ने कहा कि यूएन को भेजा गया लेटर ये अपील करता है कि यूएन सिक्युरिटी काउंसिल के रिजोल्युशंस को बरकरार रखे और भारत को इंटरनेशनल रूल्स के वॉयलेशन से रोके।

=>भारत ने क्या दिया जवाब?

- फॉरेन मिनिस्ट्री के स्पोक्सपर्सन विकास स्वरूप ने कहा है कि जम्मू-कश्मीर भारत का इंटीग्रल पार्ट (अविभाज्य हिस्सा) है।

- नक्शे को लेकर तैयार बिल ड्राफ्ट भारत का इन्टर्नल लेजिस्लेटिव मैटर है और पाकिस्तान या किसी को भी इसमें दखल देने का कोई अधिकार नहीं है।

Download this article as PDF by sharing it

Thanks for sharing, PDF file ready to download now

Sorry, in order to download PDF, you need to share it

Share Download