- योजना 6,660 करोड़ रूपये के आवंटन के साथ 2017-18 से 2019-20 तक जारी रहेंगी। इस अवधि में 10 लाख विद्यार्थियों को शिक्षा ऋण उपलब्ध होंगे।
- केंद्रीय क्षेत्र ब्याज सब्सिडी योजना (सीएसआईएस) पहली अप्रैल 2009 को लांच की गई।
- योजना के अंतर्गत स्थगन अवधि के लिए भारत में आगे के पेशेवर/तकनीकी पाठ्यक्रमों को जारी रखने के लिए भारतीय बैंक एसोसिएशन की आर्दश शिक्षा ऋण योजना के अंतर्गत अनुसूचित बैंकों से लिए गए शिक्षा ऋण पर पूरी ब्याज सब्सिडी उपलब्ध कराई जाती है।
- ऋणों का वितरण बिना किसी जमानती सुरक्षा और तीसरे पक्ष की गारंटी के किया जाता है। जिन विद्यार्थियों के अभिभावकों की आय 4.5 लाख रूपये तक है वे विद्यार्थी योजना का लाभ उठा सकते हैं।
यह सब्सिडी स्नातक और स्नातकोत्तर या एकीकृत पाठ्यक्रमों के लिए स्वीकार्य है। योजना के प्रारंभ होने के समय से ब्याज सब्सिडी रूप में 9,408.52 करोड़ रूपये की राशि वितरित की गई है और अभी तक 25.10 लाख विद्यार्थी लाभान्वित हुए हैं