फसल बीमा में तकनीकी प्रगति

कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय ने आज किसानों को सशक्त बनाने और परिचालन को सुव्यवस्थित करने के लिए प्रधान मंत्री फसल बीमा योजना के तहत कई नई तकनीकी पहल शुरू कीं। वर्तमान लॉन्च के साथ, कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय के अथक प्रयास अब 2023-25 ​​के वर्तमान निविदा चक्र और खरीफ 2023 के दौरान किसान नामांकन में दिखाई दे रहे हैं, जो किसानों को सशक्त बनाने और उनकी आजीविका की सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है। नए टेंडर चक्र और चल रहे नामांकन के साथ, मंत्रालय द्वारा किए गए प्रयास अब दिखाई देने लगे हैं। ये महत्वपूर्ण उपलब्धियाँ किसानों की आजीविका की सुरक्षा और टिकाऊ कृषि पद्धतियों को बढ़ावा देने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता का प्रमाण हैं। YES-TECH मैनुअल और WINDS पोर्टल का लॉन्च इन चरणों का परिणाम है, जो सटीक नुकसान का आकलन और बेहतर मौसम डेटा प्रबंधन को सक्षम बनाता है।

यस-टेक मैनुअल भारत के 100 जिलों में व्यापक परीक्षण और पायलटिंग के बाद विकसित एक व्यापक मार्गदर्शिका है। यह YES-TECH, एक प्रौद्योगिकी-संचालित उपज अनुमान प्रणाली के कार्यान्वयन की सुविधा प्रदान करता है, जो ग्राम पंचायत स्तर पर सटीक उपज आकलन के लिए कार्यप्रणाली, सर्वोत्तम प्रथाओं और एकीकरण अंतर्दृष्टि की पेशकश करता है। दूसरी ओर, विंड्स पोर्टल एक केंद्रीकृत मंच है जो तालुक/ब्लॉक और ग्राम पंचायत स्तरों पर स्वचालित मौसम स्टेशनों और वर्षा गेज द्वारा एकत्र किए गए हाइपर-स्थानीय मौसम डेटा को होस्ट, प्रबंधित और संसाधित करता है। पोर्टल कृषि क्षेत्र और ग्रामीण अर्थव्यवस्था का समर्थन करते हुए फसल बीमा, कृषि सलाह और आपदा शमन में जोखिम मूल्यांकन और निर्णय लेने को बढ़ाता है।

कृषि मंत्री ने सब्सिडी को अलग करने की भी घोषणा की, जो एक अभूतपूर्व कदम है, जिससे यह सुनिश्चित होगा कि किसानों को राज्य की कार्रवाइयों की प्रतीक्षा किए बिना उनका दावा भुगतान प्राप्त हो। केंद्र अब सब्सिडी का अपना हिस्सा स्वतंत्र रूप से जारी करेगा, जिससे किसानों को बहुत जरूरी राहत और वित्तीय सुरक्षा मिलेगी।

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